देहरादून पुलिस ने प्रतिबन्धित नशीली दवाओं की अब तक की सबसे बडी रिकवरी करते हुए लगभग 68000 नशीले कैप्सूल/टैबलेट (ट्रामाडॉल के 56448 कैप्सूल व एल्फ्राजोलाम के 11400) के साथ प्रेमनगर के सुद्धोवाला चौक से 02 मेडिकल स्टोर संचालकों को किया गिरफ्तार किया गया.पकड़े अभियुक्त दोनों सगे भाई निकले,जिनके कब्जे से बरामद ड्रग्स की अनुमानित कीमत लगभग 50 लाख रूपये आंकी गई हैं.
देहरादून एसएसपी दलीप सिंह कुँवर के अनुसार उत्तराखंड मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के विजन 2025 “ड्रग फ्री देवभूमि” अभियान के तहत मुखबिर तंत्र के सूचना मिली कि थाना प्रेम नगर के अंतर्गत सुद्धोवाला चौक के निकट वंश मेडिकल स्टोर के संचालक द्वारा केमिस्ट की दुकान की आड में लोगों को प्रतिबन्धित दवाएं बेची जा रही हैं. सटीक सूचना के आधार पर जब पुलिस टीम द्वारा उक्त मेडिकल स्टोर पर दबिश दी गयी तो मेडिकल स्टोर संचालक व उसका भाई अपनी दुकान पर प्रतिबन्धित नशीली दवांए बेचते हुए पकडे गये. कार्रवाई के दौरान मेडीकल स्टोर की तलाशी लेने पर पुलिस टीम को मेडीकल स्टोर से तकरीबन 50 लाख रुपए की नशीली दवाओं की बडी खेप बरामद हुई. बता दें कि देहरादून पुलिस द्वारा अब तक नशीली दवाओं की यह सबसे बड़ी खेप जनपद में पकड़ी गई है.
मोटा मुनाफा कमाने के लालच में बिना लाइसेंस की दुकान में प्रतिबंधित नशीली दवाएं बेचने का आरोप
पुलिस के अनुसार फर्जी तरीके से केमिस्ट चलाने की आड़ में नशीली दवाओं का धंधा करने वाले दोनों भाइयों से पूछताछ करने पर मेडीकल स्टोर संचालक द्वारा बताया गया कि वह और उसका भाई दोनों केमिस्ट की दुकान चलाते हैं. ज्यादा मुनाफा कमाने के लालच में सामान्य दवाओं की आड में प्रतिबन्धित नशीली दवाओं को नशे के आदे नौजवानों को ऊंचे दामों पर बेचते हैं.इतना ही नहीं पुलिस जांच में यह भी पता चला गिरफ्तार केमिस्ट संचालक के पास दवाओं को बेचने का कोई वैध लाइसेंस भी नहीं है. ऐसे में दोनों ही अभियुक्तों को मौके से गिरफ्तार कर उनके खिलाफ थाना प्रेमनगर में एनडीपीएस एक्ट में मुकदमा दर्ज किया गया. फिलहाल दोनों भाइयों को न्यायालय में पेश कर न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया गया.
वर्ष 2013 से दूसरे व्यक्ति के नाम से खरीदी जाती थी दवाएं.
पुलिस खुलासे के अनुसार पूछताछ में अभियुक्तगणों द्वारा बताया गया कि वह लोग वर्ष: 2013 से दवाओं को बेचने का कार्य कर रहे हैं. इतना ही नहीं उनके पास दवाओं को बेचने का कोई वैध लाइसेंस नहीं है.उक्त प्रतिबन्धित नशीली दवाएं केवल चिकित्सक की सलाह पर ही दी जाती हैं.लेकिन नशे के आदि व्यक्तियों द्वारा इन दवाओं को नशा करने के लिये प्रयोग किया जाता है, इसलिये यह लोग इन दवाओं की कालाबाजारी कर नशे के आदि व्यक्तियों को ऊंचे दामों में बेचते हैं. गिरफ्तार दोनों आरोपी भाइयों ने बताया कि सुद्धोवाला चौक पर ही वंश मेडिकल स्टोर व आयुष मेडिकल स्टोर के नाम से दो दुकाने हैं. पूर्व में सुद्धोवाला चौक पर ही किराये पर दुकाने चलाया करते थे.लेकिन वर्तमान में दोनों ही दुकाने खरीद ली गई हैं. अभियुक्तों ने यह भी बताया की उक्त प्रतिबन्धित दवाओं को वह लोग देहरादून के रेसकोर्स निवासी इन्द्रजीत नामके व्यक्ति से खरीदते हैं,जो कि धर्मपुर में दवाओं का डिस्ट्रीब्यूटर है. अभियुक्तों द्वारा सभी प्रतिबन्धित नशीली दवाएं कुछ दिन पूर्व ही इन्द्रजीत से खरीदी गयी थी. ऐसे पुलिस इस मामले में इंद्रजीत से भी पूछताछ कर आगे की कार्रवाई में जुटी है.
प्रतिबंधित दवाएं बेचने वाले गिरफ्तार अभियुक्त
1- कृष्ण कुमार पुत्र श्री रमेश चन्द्र नि0 76 बल्लूपुर फ्रैण्डस कालोनी थाना कैण्ट देहरादून उम्र 42 वर्ष.
2- विनय कुमार पुत्र श्री रमेश चन्द्र नि0 76 बल्लूपुर फ्रैण्डस कालोनी थाना कैण्ट देहरादून उम्र 40 वर्ष.
*बरामद माल का विवरण :-
1- SEMDEX PLUS ( NRX) ट्रामाडॉल के 56448 कैप्सूल
2- B- REST ( NRX) एल्फ्राजोलाम के 11400 टैब्लेट
*बरामद माल का अनुमानित मूल्य
बरामदा माल की अनुमानित मूल्य 50 लाख रुपये.