UKSSSC परीक्षा पत्र प्रकरण: गिरफ्तार ख़ालिद ने पुलिस पूछताछ में पूरे घटनाक्रम को सिलसिलेवार से बताया..अपनी मोबाइल योजना में कामयाब न होने के कारण OMR शीट नहीं भर पाया ख़ालिद !.

UKSSSC से पत्राचार जांच कर अभियुक्त के बयानों की पुष्टि का मिलान जारी..

देहरादून: उत्तराखंड अधीनस्थ चयन सेवा आयोग (UKSSSC) पेपर लीक प्रकरण में हरिद्वार से गिरफ्तार किए गए खालिद से बुद्धवार को देहरादून पुलिस ने घण्टों पूछताछ की.. इस मैराथन पूछताछ में मोहम्मद खालिद ने पुलिस को पूरे घटनाक्रम के बारे में बताया. इसमें सबसे महत्वपूर्ण बात ये निकलकर आई की,ख़ालिद अपने योजना मुताबिक ऐनवक्त पर मोबाइल इस्तेमाल न कर पाने की वहज से परीक्षा प्रश्न पत्र की ओएमआर शीट को अपने मुताबिक भरने में असफल रहा.हालांकि उसने परीक्षा केंद्र के आसपास मोबाइल का इस्तेमाल कर प्रश्न पत्र के तीन पन्नों के उत्तर बाहर से मंगवाने का काम जरूर किया. लेकिन परीक्षा कक्ष में मोबाइल को बाहर निकालने का मौका न मिलने और इनविजीलेटर द्वारा दोबारा अभियुक्त को बाथरूम जाने की अनुमति न देने के कारण वह मोबाइल से उक्त प्रश्नों के उत्तर देखकर ओएमआर शीट में नही भर पाया.ऐसे में अभियुक्त ख़ालिद OMR शीट में अपने मन से उक्त प्रश्नों के उत्तर भरकर बाहर आ गया..अब अभियुक्त द्वारा प्रश्नों के उत्तर न देखे जाने के सम्बंध में बतायी गई बातों की पुष्टि को लेकर पुलिस द्वारा UKSSSC से पत्राचार व जांच कर उसके बयानों की पुष्टि की जा रही हैं. 

गिरफ्तार ख़ालिद से पुलिस पूछताछ के अंश इस प्रकार रहे..

पुलिस पूछताछ में अभियुक्त मोहम्मद खालिद द्वारा बताया गया कि उसके द्वारा वर्ष 2013 में प्राइवेट सनराइज यूनिवर्सिटी राजस्थान से सिविल इंजीनियरिंग का डिप्लोमा लिया गया था.और फिर वर्ष 2013 से 2015 तक हापुड, उत्तरप्रदेश से स्नातक की डिग्री ली थी. अभियुक्त द्वारा पूर्व में दी गई प्रतियोगी परीक्षाओं में वह कुछ नम्बरों से चयनित होने से चूक गया था,जिस पर अभियुक्त द्वारा स्नातक स्तरीय परीक्षा से पहले किसी तरह मोबाइल को परीक्षा केन्द्र के अन्दर छिपाकर उसके माध्यम से किसी बाहरी व्यक्ति से सम्पर्क कर प्रश्नों के उत्तर प्राप्त कर नकल करने की योजना बनाई.अभियुक्त की योजना थी कि वह अलग-अलग जनपदों से परीक्षा के लिए आवेदन करेगा.और  जिस किसी परीक्षा केन्द्र में उसे मोबाइल ले जाने अथवा पूर्व से ही मोबाइल छिपा कर रखने का मौका मिलेगा,वह उक्त परीक्षा केन्द्र से परीक्षा में सम्मिलित होगा.

योजना के मुताबिक अभियुक्त को एक ऐसे व्यक्ति की तलाश थी,जो उसे प्रश्नो के उत्तर बता सके.इसके लिये उसने टिहरी में असिसटेंट प्रोफेसर के पद पर नियुक्त सुमन से सम्पर्क किया,जिससे उसकी मुलाकात वर्ष 2018 से 2021 तक पीडब्लूडी में संविदा पर कनिष्ठ अभियंता के पद पर नियुक्त रहने के दौरान हुई थी.उस समय सुमन नगर निगम ऋषिकेश में टैक्स इन्सपेक्टर के पद पर नियुक्त थी.और उनके पति पीडब्लूडी में ही ठेकेदारी का कार्य करते थे.अभियुक्त ख़ालिद को जानकारी थी कि सुमन प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करती रहती थी,और उसे प्रतियोगी परीक्षाओं के प्रश्नों की अच्छी जानकारी थी.ऐसे में अभियुक्त द्वारा परीक्षा से कुछ दिन पूर्व सुमन से फोन पर वार्ता कर अपनी बहन के एग्जाम की तैयारी के लिये सहयोग करने एवं उसकी बहन द्वारा अपनी शंकाओं के सम्बंध में उनसे सम्पर्क करने पर उसकी सहायता का अनुरोध किया गया था,जिसकी पुष्टि साक्ष्यों में भी हुई है.

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पुलिस पूछताछ में अभियुक्त से ये भी पता चला कि,पूर्व नियोजित योजना के अनुसार अभियुक्त द्वारा स्नातक स्तरीय परीक्षा के लिये 04 आवेदन,जिसमें 02 आवेदन जनपद टिहरी और 02 आवेदन जनपद हरिद्वार से किये गये थे.जिनमें अभियुक्त को 02 परीक्षा केन्द्र जनपद टिहरी और 02 परीक्षा केन्द्र जनपद हरिद्वार में आदर्श बाल सदन इण्टर कॉलेज बहादुरपुर जट हरिद्वार तथा धनपुरा हरिद्वार में मिले,जिसमें से आदर्श बाल सदन इण्टर कॉलेज बहादुरपुर जट अभियुक्त के घर के पास में ही था.इसके बाद दिनांक 17-05-2025 को अभियुक्त बहादुरपुर जट स्थित आदर्श बाल सदन इण्टर कॉलेज में परीक्षा केन्द्र देखने के बहाने रैकी करने गया.परन्तु उस दिन अवकाश होने व गेट बंद होने के कारण वह अन्दर नही जा पाया.इसके उपरांत परीक्षा से एक दिन पूर्व दिनांक 20-09-2025 को अभियुक्त दोपहर के समय उक्त परीक्षा केन्द्र में गया,और परीक्षा के सम्बंध में आवश्यक जानकारी लेकर वापस आ गया.इस दौरान अभियुक्त को परीक्षा केन्द्र के अन्दर नयी बिल्डिंग का निमार्ण कार्य चलने की जानकारी हुई.ऐसे में शाम के समय अभियुक्त द्वारा परीक्षा केन्द्र के पीछे खेत की बाउड्रीं से परीक्षा केन्द्र में प्रवेश कर अपने साथ लाये  I-Phone 12 Mini को स्विच ऑफ कर स्कूल की नयी बिल्डिंग के निमार्णाधीन हिस्से में ईटों व घास के बीच छिपाकर रख दिया.जो परीक्षा कक्ष से बहुत दूर नहीं था.और फिर वह वापस अपने घर आ गया. 

अपनी योजना के मुताबिक अभियुक्त ख़ालिद द्वारा दिनांक 21-09-2025 की सुबह सुमन से व्हाटसएप मैसेज के माध्यम से सम्पर्क किया.और अपनी बहन के एग्जाम की तैयारी के लिये उसकी बहन द्वारा सुमन से सम्पर्क कर उसे व्हाटसएप पर कुछ प्रश्न की फोटो भेजने के साथ ही उनके उत्तर उसकी बहन को वापस भेजने का अनुरोध किया.परीक्षा से पूर्व अभियुक्त खालिद अपने मोबाइल को अपनी बहन साबिया को देकर परीक्षा देने चला गया,जिसे पहले से ही उसके द्वारा प्रश्नों के फोटो भेजने पर उक्त फोटो को सुमन को फारवर्ड कर उससे उनके उत्तर प्राप्त करने और उन्हें वापस उसी नम्बर पर भेजने के लिये बताया गया था.

 इधर परीक्षा केन्द्र में पहुंचने पर चैकिंग/फ्रिकसिंग के उपरान्त अभियुक्त खालिद द्वारा निमार्णाधीन बिल्डिंग में जाकर पहले से छुपाये गये मोबाइल को निकालकर अपनी जैकेट (विंडचिटर) की जेब में डाल दिया.और अपने कमरे की सीट पर जाकर बैठ गया,चूंकि अभियुक्त द्वारा पूर्व में भी प्रतियोगी परीक्षाओं में प्रतिभाग किया गया था, तो उसे जानकारी थी कि परीक्षा शुरू होते ही सभी अभ्यर्थी प्रश्नपत्र को पढने में तथा सभी इनविजीलेटर छात्रों के ओएमआर शीट चैक करने में व्यस्त हो जाते हैं. इसी बीच अभियुक्त द्वारा परीक्षा शुरू होते ही मौका देखकर प्रश्न पत्र के 03 पन्नों की फोटो खींच लिये,लेकिन इनविजीलेटर व अन्य अभ्यर्थियों द्वारा देखे जाने के डर से घबराहट में वह प्रश्न पत्र के और पेजों की फोटो नही खींच पाया.इसके उपरान्त अभियुक्त द्वारा कक्ष नियत्रंक से बाथरूम जाने की अनुमति लेकर बाथरूम से उक्त फोटो को साबिया को भेज दिये,जिसके द्वारा उक्त फोटो को सुमन को भेजते हुए उसके उत्तर प्राप्त कर वापस अभियुक्त खालिद को भेजे गये.लेकिन परीक्षा कक्ष में मोबाइल को बाहर निकालने का मौका न मिलने और इनविजीलेटर द्वारा दोबारा अभियुक्त को बाथरूम जाने की अनुमति न देने के कारण वह मोबाइल से उक्त प्रश्नों के उत्तर देखकर ओएमआर शीट में नही भर पाया.और ऐसे में ओएमआर शीट में अपने मन से उक्त प्रश्नों के उत्तर भरकर बाहर आ गया.अब अभियुक्त द्वारा प्रश्नों के उत्तर न देखे जाने के सम्बंध में बतायी गई बातों की पुष्टि के लिये पुलिस द्वारा UKSSSC  से पत्राचार कर जांच की जा रही  है,जिससे उसके बयानों की पुष्टि हो सकें..

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पुलिस पूछताछ में अभियुक्त ख़ालिद ने अंत में बताया कि,परीक्षा के उपरान्त घर वापस आने के कुछ समय बाद उसे सोशल मीडिया पर उक्त प्रश्नों के फोटो के स्क्रीनशॉट आउट होने की जानकारी मिली,जो उसके द्वारा परीक्षा केन्द्र से खींचकर भेजे गये थे.ऐसे में अभियुक्त अपनी बहन साबिया को उसका दिया गया मोबाइल व परीक्षा के दौरान इस्तेमाल किये गये मोबाइल को लेकर घर से फरार हो गया.और  बस से सीधे दिल्ली पहुँचा.इस दौरान अभियुक्त ने दोनों फोनों में इस्तेमाल किये गये सिमों को तोडकर फेंक दिया.इसके बाद दोनों मोबाइल फोनों को रिसेट कर दिया.. अभियुक्त दिल्ली से अवध आसाम ट्रेन के माध्यम से लखनऊ के लिये रवाना हुआ.यहाँ उसने घटना में इस्तेमाल किये गये आईफोन को ट्रेन के कोच के डस्टबिन में फेंक दिया, और फिर दून एक्सप्रेस से वापस हरिद्वार पहुंचा.इसके बाद अभियुक्त हरिद्वार से छिपते हुए देहरादून में  सरेण्डर करने के प्रयास में था.लेकिन उससे पहले ही जमीं-आसमा कर धरपकड़ में जुटी देहरादून और हरिद्वार संयुक्त पुलिस ने उसे पकड़ लिया..

देहरादून पुलिस के अनुसार अब तक इस केस की विवेचना में उक्त प्रकरण में किसी संगठित गिरोह के शामिल होने और प्रश्नपत्र के अन्यत्र कहीं और आउट होने के सम्बन्ध में अभी वर्तमान तक कोई साक्ष्य प्राप्त नहीं हुए हैं.साथ ही अभियुक्त द्वारा प्राप्त किये गये प्रश्नों के उत्तरों को भी उसके द्वारा ओ0एम0आर0 शीट में न भर पाना प्रकाश में आया है.लेकिन फिर भी विवेचना में अन्य साक्ष्य संकलन की कार्यवाही की जा रही है.दून पुलिस ने कहा कि यदि उक्त परीक्षा के सम्बंध में किसी व्यक्ति को कोई साक्ष्य दिये जाने हो तो वह विवेचक के समक्ष प्रस्तुत होकर साक्ष्य दे सकते है. विवेचना में जो भी अन्य साक्ष्य प्राप्त होंगे उनको भी संज्ञान में लेकर अग्रिम कार्यवाही की जायेगी..

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बता दें कि 21 सितंबर 2025 को UKSSSC द्वारा आयोजित कराई जा रही स्नातक स्तरीय पदों के लिये लिखित प्रतियोगी परीक्षा के प्रश्न पत्रों के फोटो को अज्ञात व्यक्ति द्वारा आउट करने और उनके स्क्रीनशॉट को कुछ सोशल मीडिया एकाउंट्स पर प्रसारित करने की जानकारी सामने आयी थी. इस सम्बन्ध में UKSSSC द्वारा दिये गए शिकायती पत्र की एसआईटी द्वारा जांच के उपरान्त एसआइटी रिपोर्ट के आधार पर थाना रायपुर पर  धारा 11(1),11(2),12(2) उत्तराखंड प्रतियोगी परीक्षा (भर्ती में अनुचित साधनों की रोकथाम एवं रोकथाम के उपाय) अध्यादेश 2023 के तहत अभियोग पंजीकृत किया गया था. एसएसपी देहरादून के निर्देशन में इस केस की विवेचना पुलिस अधीक्षक ऋषिकेश द्वारा की जा रही है..

विवेचना के दौरान प्रकाश में आये तथ्यों व प्राप्त साक्ष्यों के आधार पर 23 सितंबर 20 25 को मुख्य अभियुक्त खालिद मलिक की बहन साबिया को पुलिस द्वारा बाद विस्तृत पूछताछ कर गिरफ्तार किया गया. जिससे पूछताछ में उसके द्वारा अपने भाई खालिद मलिक के कहने पर उक्त प्रश्नों की फोटो को खालिद के मोबाइल से सुमन को भेजे जाने और सुमन से उक्त प्रश्नो के उत्तर प्राप्त कर वापस खालिद को भेजे जाने की बात बतायी गई.इस प्रकरण में फरार अभियुक्त खालिद की तलाश हेतु देहरादून/हरिद्वार सहित एसटीएफ की संयुक्त टीमों द्वारा लगातार उसके सम्भावित ठिकानों पर दबिशें दी जा रही थी.इसी बीच दिनांक 23-09-2025 को सयुंक्त टीमों द्वारा अभियुक्त खालिद को हिरासत में लिया गया. पुलिस द्वारा अभियुक्त खालिद को देहरादून के थाना रायपुर पर लाकर उससे घंटो विस्तृत पूछताछ करने के उपरान्त उसे गिरफ्तार किया गया.अभियुक्त के कब्जे से पुलिस को प्रश्न पत्रों के फोटो आगे भेजने हेतु साबिया द्वारा इस्तेमाल किया गया.अभियुक्त का मोबाइल फोन बरामद हुआ हैं, जिसको फांरेन्सिक जांच हेतु एफ0एस0एल0 भेजा जा रहा है.. 

 गिरफ्तार अभियुक्त:-

मोहम्मद खालिद पुत्र मो0 शहजाद, निवासी सुल्तानपुर, आदमपुर, थाना कोतवाली लक्सर, जनपद हरिद्वार, उम्र- 35 वर्ष..

परमजीत सिंह लाम्बा

संपादक - ख़बर सनसनी PH-7454913200,7906640014

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